जाग -जाग रै वोटर जाग!

मतदातावां नै समर्पित
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जाग-जाग रै वोटर जाग!
सो मत रै भारत रा भाग!!
इतरा वरस आऴस मे़ं खोया!
खोटा मिणिया माऴा पो।
भारत री तकदीर बदऴदे,
वांनै अज तक क्यूं नीं जोया?[…]
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मतदातावां नै समर्पित
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जाग-जाग रै वोटर जाग!
सो मत रै भारत रा भाग!!
इतरा वरस आऴस मे़ं खोया!
खोटा मिणिया माऴा पो।
भारत री तकदीर बदऴदे,
वांनै अज तक क्यूं नीं जोया?[…]
म्हारी तिणखा इसड़ी राणी
(ज्यूं) तातै तवै पडंतो पाणी।
नातो हार-थकेलै वाळो, है कड़वी कैंटीन साथ में।
तणखां रै दिन दांईं नहचै, बिल इणरो आ जाय हाथ में।
उमर, उधारी रीत अेकसी, लीनी जकी पड़ै लौटाणी।।
म्हारी तिणखा इसड़ी राणी
(ज्यूं) तातै तवै पडंतो पाणी।[…]
कांई आपां जमीर बेच चूका?
ओ खाली म्हारो अबल़ेखो ई है
कै आपनै ई लागै
म्हारी बात में
कठै ई तंत !!
कांई आपनै
नीं लागै
कै
आपां में अबै
नीं रह्यो जमीर जीवतो[…]
धोराँ आळा देस जाग रे ऊँटाँ आळा देस जाग।
छाती पर पैणा पड़्या नाग रे धोराँ आळा देस जाग।।
उठ खोल उनींदी आँखड़ल्यां नैणाँ री मीठी नींद तोड़।
रे रात नहीं अब दिन ऊग्यो सपनाँ रो कू़डो मोह छोड़।।
थारी आँख्याँ में नाच रह्या जंजाळ सुहाणी रातां रा।
तूं कोट बणावै उण जूनोड़ै जुग री बोदी बातां रा।।
रे बीत गयो सो गयो बीत तूं उणरी कू़डी आस त्याग।।
छाती पर पैणा पड़्या नाग रे धोराँ आळा देश जाग।।१।।[…]
खुद के भीतर देख निर्भया,
बदल ब्रह्म के लेख निर्भया,
तू सूरज है, तेजपुंज तू,
वहसी तम की रेख निर्भया,
खुद के भीतर देख निर्भया।
भीतर का भय त्याग निर्भया,
जगना होगा, जाग निर्भया,
तेरी ताकत सागर जैसी,
दुष्ट झाग सम पेख निर्भया,
खुद के भीतर देख निर्भया।[…]
पापी के खपिया प्रिथी, विटळा केक विनास।
जस धिन दूणो जगमगै, पदमण तणो प्रकास।।
जिण झाळां री झाट सूं, खपियो खिलजी खास।
प्रिथमी सारी पसरियो, पदमण सुजस प्रकास।।
सत उर में साहस सधर, जबर वर्यो जसवास।
सांम नांम स्वाभिमान रो, पदमण तणो प्रकास।।
आय अलाऊदीन ऊ, निसचै हुवो निरास।
वर अगनी कीधो वसू, पदमण सुजस प्रकास।।[…]
कुण नै चिंता करम री, करै सो आप भरेह।
पण इण भगवा भेख नैं, काळो मती करेह।।
काळा, धोळा, कापड़ा, या हो नंग धड़ंग।
भारत में है भेख रो, सूचक भगवों रंग।।
भगवैं नै भारत दियो, सदा सदा सम्मान।
भगवैं भी राखी भली, इण भारत री शान।।[…]
आग नफ़रत री बुझाओ, आ समय री माँग है।
हेत री जाजम जमाओ, आ समय री माँग है।
मौन तोड्यां बिन मनां री ग्रन्थियां उळझै घुळै।
परस्पर बोलो-बुलाओ, आ समय री माँग है।
बारणा अर बारियाँ ढक, सोवणै सूं नीं सधै
आज घर सूं बा’र आओ, आ समय री माँग है।
दोष देकर दूसरां नैं, पाक-दामण मत बणो
आंगळी खुद पर उठाओ, आ समय री माँग है।[…]
मन री बातां करणियां रै
कांई नीं है कोई
ऐड़ी रीत,
जिणसूं ऊग जावै
कठै ई ऊंडै काल़जै
प्रीत रा पनूरा!!
कांई नीं है
वा कनै
आंशुवां रो कोई समंदर!
छौ, कोई बात नी!
संवेदनावां तो
शायद होवैली जीवती![…]
इण पढ्यो लिख्यो री पंगत में, जुनोड़ा आखर कुण जांणे।
नखरा कर नये जमांने रा, तिरछी हद रागां लो तांणे।।
जा जोर तमासा कर जितरा, जोवे जनता मन जोकरिया।
वाजे आधुनिक वायरियो, डिंगल फेशन कर डोकरिया।।१
ऊचे शब्दां रा अरथ करे, वो कूंत करणिया रैया कठे।
जुनी भाषा ने जांणणिया, अब देख किता सच कया अठे।।
तड़का बाजे लै ताड़ी रा, हाका कर लड़का होकरिया।
वाजे आधुनिक वायरियो, डिंगल फेशन कर डोकरिया।।२[…]